सव प्रक्रिया पार करके वहिस्कार करन गैरजिम्मेवारीपन, महासिचव राना

३० कार्तिक २०८१, शुक्रबार
सव प्रक्रिया पार करके वहिस्कार करन गैरजिम्मेवारीपन, महासिचव राना

उमेश राना, कातिक ३०।

रानाथारु समाजको महाअधिवेशन सम्पन्न हुइगओ तुम महासचिवकी गरिमामय पद पाइगए, बहुत–बहुत बधाई तथा अगामी कार्यकालको शुभकामना । पर सर जा महाधिवेशनमे क–कैसो चुनौतीको सामना करन पडो ?

नेपाल रानाथारु समाजको ७ औँ महाधिवेशन सम्पन्न भओ हए । जा असोज २४ गते खुल्ला सत्र रहए, ३ गते चुनाव हुइके ४ गते शपथ ग्रहणके संगए टुंगो लगो रहए और मए महासचिवको पदमे सबएको साथ सहयोगसे निर्वाचित भओ, मए सबएन्के आपन व्यक्तिगत तरफसे धन्यवाद देन चाहत हओँ । अब जामे थोरी मए दुनो पक्षकी बात करहओँ, काहेकी थोरी विवाद फिर भओ । महाधिवेशनमे एक पक्ष असहमति जनाईं और अन्तिम समयमे चुनाव बहिस्कार फिर करिँ । पर जा जो बे बहिस्कार करिँ जा इतनो सान्दर्भिक मोके ना लागत हए । काहेकि एक प्रक्रिया होत हए हरेक चिजको, खुल्ला सत्र, बन्द सत्र फिरके निर्वाचन । असन्तुष्ट पक्षकि आरोपमे पहिलो मुद्दा रहए नविकरण ना भओ । दुसरो सदस्यता वितरण एक्कासि करिँ । तिसरो जा गाँउ कमिटि जो रहए बा १००% ना करपाईँ । जाके बादमे बन्द सत्रमे जाएके अडिटकी बारेमे प्रश्न उठाईँ रहएँ । तओ पहिले मए खुल्ला सत्रकि बारेम बतात् हओँ । आपन थरुवा १५० गाँउकि हाराहारिमे हएँ । तओ कहात रहएँ कि ८५ गाँउमे गाँउ कमिटी गठन भओ और बाँकी गाँउमे कमिटी गठन ना करपाईँ । तओ मेरो मान्यता का हए कि शतप्रतिशत कहि फिर सफल ना होत हए । शतप्रतिशत नए आजिवन सदस्यन्की उपस्थिति हुइहए, गाँउ कमिटि गठन करडरते सोउ शतप्रतिशत उपस्थिति ना हुइपइति । और विधान अनुसार ५१% कटन पडत हए और ८५ गाँउमे कमिटि बनन् कहोक ५१% कटो हए, तभी जा आरोप मोए वाइयात लगो । दुसरो आरोप का लगाईँ रहएँ कि संस्था नविकरण ना भओ । होन ता थोरी कमजोरी दिखानी पर जहु आरोप इतनो सान्दर्भिक माके ना लगो काहेकी अडिट हुइगओ रहए, कर चुक्ता हुइगओ रहए, नविकरण ना भओ रहए । नविकरण ना होन कारण का रहए कि पुरानो समितिको कार्यकाल खतम हुइगओ रहए अब जा नया समिति जो अबइगी बा आएके नविकरण कराए लेहए करके बात आट्की रहए । तिसरो आरोप आजिवन सदस्यता एक्कासि वितरण भओ रहए । तओ जाको निर्णय ता २०८० सालको चैतमे हुइडारी रहए । प्रत्येक पदाधिकारीके १०/१० सदस्यता वितरण करएँ करके निर्णय भओ हए । तओ जौन पक्ष जा आरोप लगात हएँ बे अपना असक्रिय हुइके सदस्यता वितरण ना करपाईँ और अब अन्तिम समयमे अतार्किक आरोप लगात हएँ जा ता ना भओ, सदस्यता वितरण करनको एक समयअवधि होत हए बाके पहिले बुझन रहए । फिर जा बन्द सत्रमे बात उठि रहएँ कि पुरानो आजिवन सदस्यताकी रुपैया पान पडो । तओ जामे मोएत् का लागत हए कि पुरानि समितिसे जे नया समिति वाले हिसाब ना लई पाईँ जा ता पुरानो समितिको कमजोरी हए, पुरानो समितिके नयाँ समितिके हिसाब देनके रहए । जब पुरानो समिति हस्तान्तरण करत रहए (अध्यक्षः गोबिन्द राना), बे काहेक ना सब चिज किलियर करके हस्तान्तरण करि ? एक और आरोप रहए कि अडिटकी प्रतिवेदन सहि ना हए । अब जामे गल्ति चाहि दिखानो रहए पर बा अडिटरको रहए पर अडिटउमे मोके खासए इत्तो बडी गल्ति ता ना लगो रहए । अब जा क्वाँर ३० गते निर्वाचनकी गते तुग्गओ, उमेदवारी दर्ता हुइगईँ बाके बादमे कात्तिक १ और २ गते सहमतिको वातावरण फिर बनाई । २ दिन सहमति ना जुट्पाई, जाके बादमे निर्वाचन भओ । तओ बे कात्तिक २ गते रातके निर्वाचन बहिस्कार करिँ, तओ जा मोके इतनो सान्दर्भिक ना लागत हए । इतनो प्रक्रियामे जाएके, उमेदवारी दर्ता कराएके अन्तिममे बहिस्कार करनो जा मिर ब्यक्तिगत रुपसे चित्त ना बुझो और जा एक गैरजिम्मेवार प्रवृति हए । अब चुनावमे गए हओ ता जो नतिजा चुनावको आबैगो बा नतिजा ता स्विकारन पडो । चुनाव बहिस्कारए करन रहए ता ३० गतेसे पहिले करन रहए और उमेदवारी देनए ना रहए । और चुनाव फिर विधान अनुसार भओ हए, नेपाल सरकारकि निगरानीमे भओ हए, कागज प्रक्रिया पुरा करके भओ हए तओ एक पक्ष बहिस्कार करनसे चुनाव बहिस्कार ना होत हए, जासे ता बहिस्कार करन नाए कि कार्यक्रम भरमंड करन कहो जात हए ।

का रानाथारु समाज सेवा करन ताहिँ नेपाल रानाथारु समाजकी प्रतिनिधि बनन जरुरी हए ?

रानाथारु समाजकी सेवा करन ताहिँ नेपाल रानाथारु समाजकी प्रतिनिधि बनन जरुरी ना हए । पर नेपाल रानाथारु समाजकी प्रतिनिधि हुइके जो आवाज मए उठामंगो बे आवाज सम्बन्धित निकाएमे गुँजइगे जो एक साधारण रानाथारु हुइके मए ना करपए हओँ । जो मिर भिजन और मिसन हएँ बे नेपाल रानाथारु समाज संस्थामे जुडके बुलंदि पएहएँ । तभिक मारे मए जा संस्थासे जुडो हओँ ।

रानाथारु समाजकी अब चुनौति और अवसर का–का हएँ ?

चुनौती और अवसर दुने हएँ । जो बन्द सत्रमे बात उठी बिनके हम एक सुझावके रुपमे फिर लेत हएँ । जो हमर विगतमे कमि कमजोरी रहएँ, १०/१० वर्षमे महाधिवेशन भए हएँ । तओ जे चिजको हम सुधार करहएँ, विधान परिवर्तनसे लैके, समयमे सधारण सभाकी बात हएँ, समयमे नविकरणकी बात आत हए, समयमे अडिटकी बात आत हए । और अवसर ऐसो हए, देशमे संरचना बदलगए हएँ, कानुन बदलगए हएँ, तओ जा आधारमे हमए का हए कि जनजातिको ताहिँ जो सरकार बजेट दइ रहो हए, अरक्षण दइ हए, जिनके सदुपयोग करन अवसर हए । अब दुसरी बात का हए कि हमर लगभग स्थानीय तहमे रानाथारु जनप्रतिनिधि हएँ । तओ विनसे समन्वय करके हम बहुत कुछ कर सकनको अवसरके रुपमे लएपडे हएँ । और तिसरो बात का हए कि हमए प्रत्येक गाँउमे जाएके भलमन्सान्के व्यवस्थित करनो हए, अभए भलमन्सा ऐन कि बात आए रहि हएँ और लगभग–लगभग स्थानीय तहमे जाको पहल हुइगओ हए । तओ जहुके हम एक अवसरकी रुपमे लए हएँ । और अभय जो युवा हएँ हमर जो समाजके मेरुदण्ड कहात हएँ, एकदम सक्षम । तओ बिनके परिचालन करके फिर हम समाजमे अमूल परिवर्तन कर सकन हमर ताहिँ एक अच्छो अवसर हए ।

नयाँ समितिके लगायत रुष्ठ पक्षन्के कैसे लैजामए विषयमे कुछ बातचित भई हए कि ?

हम ४ गते शपथ ग्रहण करे रहएँ । तओ पहिलो बैठकए हम ४ गते करे रहएँ । बो बैठकमे हम, जा जो ७औँ महाधिवेशनमे प्रत्यक्ष, अप्रत्यक्ष रुपमे सहयोग पुगानवाले सुरक्षाकर्मी, मिडिया, अतिथि, विशिष्ट अतिथि, गाँवके पधना, भलमन्सा सबएके हम बधाई और धन्यवाद दइ डारे हएँ । और पुरानी समितिसे जो रहए सबए दस्तावेज हस्तान्तरण कर डारे हएँ । फिरके दुसरी बैठकमे संस्थाकी खाता, नविकरणकि बात और सिफरिसवाली बातकी हम निर्णय कर डारे हएँ । अबखि बैठनीय बैठकमे हम जे जो समानान्तर समिति बनईँ हएँ, बिनसे समन्वय करके, समाजमे सहजि वातावरण बनान्को लक्ष्य लइ डारे हएँ ।

नेपाल रानाथारु समाज संस्थामे राजनीतिकरणकी बारेमे तुम का कहन चाहत हओ ?

जामे ऐसो हए । अब हम नया पाइला टेके हएँ । नया पाइला टेक्तए, अब जाकि भितर जो–जो गांजागोल आइगओ हए, बाके सबसे पहिले हम धोन काम करहएँ । मए एकदिन व्यक्तिगत रुपमे फिर २/३ शुभचिन्तक संस्थापकन्के फोन करो रहओँ कि अगर जा संस्था कल्हक दिन जाएके पतन हुइजए हए तओ तुम्हर सबकी अस्तित्व और देन मिट्जाबइगो । तओ तुम संस्थापकन्के थोरी ध्यान दइदेन पडो, जा द्वान्द निराकरण करनके ताहिँ । दुसरो स्टेपमे मए पूर्व अध्यक्षसे फिर समन्वय करडारो हओँ कि अभए सम्म तुम २४/२५ वर्षसे जा संस्थाके बचाएके लाए हओ । जामे हरेक अध्यक्ष, उपाध्यक्षसे लैके सदस्यन्को योगदान हए । भले १० वर्ष महाधिवेशन ना भओ बा अपनि ठाउँमे हए । पर जाके जिबन्त रखएके हिनासम्म लान तुम्हरो बहुत बडो भूमिका हए । कल्हक दिन जा संस्था पतन हुइहए तओ तुम्हर सबको और आपनके पुर्खान्की योगदान सब खेर जाइगो । तओ जैसे करके फिर जा संस्थाके बचान पडो । राजनीतिसे हमके बाहेर जाएके, समाजकि हितमे एकत्रित होन पडो कहिके जा बात मए व्यक्तिगत रुपमे धरडारो हओँ । अब जेहिँ बात बैठकमे और कार्यन्वयनमे फिर हम लैजांगे ।

अन्तमे तुम्हर मनमे कुछ हए ता बताएदेबओ ?

आपन थरुवा हएँ, आपनकी उद्देश्य एकए हए, समाज अच्छो बनानो । उद्देश्य फरक होतो ता द्वान्द होन जरुरी रहए पर उद्देश्य एकए होनोसे द्वान्द करन जरुरी नइया बहस करन जरुरी हए । बहस और छलफल करन एकदम जरुरी हए । और अन्तिममे, हमके जा महाधिवेशन करान ताहिँ प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रुपमे सहयोग करिँ हएँ, मए सबसे पहिले बिनके धन्यवाद देन चाहत हओँ । और भविष्यमे फिर सहयोगकी अपेक्षा करत हओँ । आशा करत हओँ जे आनिया ३ वर्षमे हम समाजमे एक अच्छो परिवर्तन करके दिखए हएँ ।

Wedding Story advertisement Of Jems Movies & Photo Studio